नई दिल्ली: इनकम टैक्स विभाग ने इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) को प्रोसेस करना शुरू कर दिया है। इसके तहत इनकम टैक्स की ओर से टैक्सपेयर्स को इनकम टैक्स की धारा 143 (1) के तहत नोटिस भेजकर जानकारी दी जा रही है। इसमें लिखा होता है कि आपने जो आईटीआर फाइल किया था, वह सही है या नहीं। अगर सही नहीं है तो इसमें उसका कारण भी होता है। सामान्यत: यह कारण इनकम की गलत जानकारी देने से जुड़ा होता है। अगर आपको भी यह नोटिस मिला है तो घबराएं नहीं। पहले इसे पढ़ें कि आपने आईटीआर में कोई गलत जानकारी तो नहीं भर दी थी। अगर ऐसा कुछ निकलता है तो आखिरी तारीख तक रिवाइज्ड रिटर्न भर दें। सामान्य तौर पर रिवाइज्ड रिटर्न फाइल करने की आखिरी तारीख 31 दिसंबर होती है। हालांकि इनकम टैक्स विभाग कई बार इस आखिरी तारीख को बदल भी चुका है।
जब भी हम रिटर्न फाइल करते हैं तो उसमें अपनी आमदनी सही-सही भरनी होती है। हमारी सारी आमदनी का हिसाब-किताब फॉर्म 26AS और AIS के रूप में सरकार के पास मौजूद होता है। आईटीआर फाइल करने के बाद इनकम टैक्स विभाग उसकी जांच करता है। अगर आमदनी से जुड़ी हुई कुछ भी गड़बडी निकली तो इनकम टैक्स विभाग की ओर से इस नोटिस के जरिए बताया जाता है। इसे लेटर ऑफ इंटीमेशन या इंटीमेशन नोटिस भी कहते हैं।